मुख्यमंत्री श्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने विधानसभा स्थित सीएम कार्यालय में पुलिस के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ राज्य में कानून व्यवस्था की समीक्षा की। मुख्यमंत्री ने फील्ड पुलिसिंग को और अधिक सक्रिय करने के निर्देश दिए। ड्रग्स माफिया व भू माफिया पर शिकंजा कसे जाने की आवश्यकता पर बल दिया। ड्रग्स की गतिविधियों में शामिल तत्वों को पहचानकर सख्त कार्यवाही सुनिश्चित की जाए। इसके लिए अगर कानून में सुधार किए जाने की जरूरत हो तो इसका प्रस्ताव तैयार किया जाए। मुखबिर तंत्र को मजबूत किया जाए। ड्रग्स माफिया की जानकारी देने वाले लोगों को प्रोत्साहित किया जाए। जनजागरूकता के लिए सामाजिक अभियान चलाए जाएं। अभिभावकों व स्कूलों को नशा विरोधी अभियान में शामिल किया जाए।
मुख्यमंत्री ने अपर मुख्य सचिव ओमप्रकाश को जमीन संबंधी धोखाधड़ी के मामलों पर नियंत्रण के लिए अधिकारियों की समिति बनाकर कार्ययोजना तैयार करने के निर्देश दिए। कतिपय क्षेत्रों में माओवादी गतिविधियों की जानकारी दिए जाने पर मुख्यमंत्री श्री रावत ने कहा कि अभी राज्य में माओवादी गतिविधियां बहुत ही सीमित हैं, फिर भी इन पर लगातार नजर रखते हुए पूरी तरह से रोका जाए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कानून व्यवस्था राज्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकताओं में है। शिथिल अधिकारियों को चिन्हित किया जाए। पुलिस विभाग को सुधार हेतु आवश्यक धनराशि उपलब्ध कराई जाएगी। उन्होंने डीजीपी को निर्देशित किया कि जितने पुलिस थाने खोले जाने की आवश्यकता हो, प्रस्ताव बनाएं। पुलिस थानो के रखरखाव, पुलिसकर्मियों के आवासीय भवनों, वाहनों, सामग्री आपूर्ति के लिए भी प्रस्ताव बनाया जाए।
बैठक में अपर मुख्य सचिव ओमप्रकाश, डीजीपी एम.ए गणपति, डीजी अनिल रतूड़ी, एडीजी राम सिंह मीणा, अशोक कुमार सहित वरिष्ठ पुलिस अधिकारी उपस्थित थे। |